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210 - भगवान झूलेलाल का जन्मोत्सव 'चेटीचंड'
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  • 210 - भगवान झूलेलाल का जन्मोत्सव 'चेटीचंड'

    चाहे वह दीपावली हो, ईद हो, क्रिसमस हो या भगवान झूलेलाल जयंती। यहाँ अनेकता में एकता के दर्शन होते हैं। भारत में विभिन्न धर्मों, समुदायों और जातियों का समावेश है। इसलिए यह हमारे देश के लिए गर्व की बात है कि यहाँ सभी धर्मों के त्योहारों को प्रमुखता से मनाया जाता है भगवान झूलेलाल का जन्मोत्सव 'चेटीचंड' के रूप में सिंधी समुदाय का त्योहार पूरे देश में हर्षोल्लास से मनाया जाता है। इस त्योहार से जुड़ी हुई वैसे तो कई किवंदतियाँ हैं सिंधी समुदाय व्यापारिक वर्ग रहा है सो ये व्यापार के लिए जब जलमार्ग से गुजरते थे तो कई विपदाओं का सामना करना पड़ता था। जैसे समुद्री तूफान, जीव-जंतु, चट्टानें व समुद्री दस्यु गिरोह जो लूटपाट मचाकर व्यापारियों का सारा माल लूट लेते थे। परंतु प्रमुख यह है कि चूँकि इसलिए इनके यात्रा के लिए जाते समय ही महिलाएँ वरुण देवता भगवान झूलेलाल जल के देवता हैं अतः ये सिंधी लोग के आराध्य देव माने जाते हैं की स्तुति करती थीं व तरह-तरह की मन्नते माँगती थीं। चूँकि जब पुरुष वर्ग सकुशल लौट आता था। मन्नतें पूरी की जाती थी व भंडारा किया जाता था। तब चेटीचंड को उत्सव के रूप में मनाया जाता था। सन् 1952 में प्रोफेसर राम पंजवानी ने सिंधी लोगों को एकजुट करने के लिए अथक प्रयास किए। वे हर उस जगह गए जहाँ सिंधी लोग रह रहे थे पार्टीशन के बाद जब सिंधी समुदाय भारत में आया तब सभी तितर-बितर हो गए। तब । उनके प्रयास से दोबारा भगवान झूलेलाल का पर्व धूमधाम से मनाया जाने लगा जिसके लिए पूरा समुदाय उनका आभारी है। आज भी समुद्र के किनारे रहने वाले जल के देवता भगवान झूलेलाल जी को मानते हैं। इन्हें अमरलाल व उडेरोलाला भी नाम दिया गया है। भगवान झूलेलाल जी ने धर्म की रक्षा के लिए कई साहसिक कार्य किए जिसके लिए इनकी मान्यता इतनी ऊँचाई हासिल कर पाई। जिन मंत्रों से इनका आह्वान किया जाता है उन्हें लाल साईं जा पंजिड़ा कहते हैं। वर्ष में एक बार सतत चालीस दिन इनकी अर्चना की जाती है जिसे 'लाल साईं जो चाली हो' कहते हैं। इन्हें ज्योतिस्वरूप माना जाता है अतः झूलेलाल मंदिर में अखंड ज्योति जलती रहती है, शताब्दियों से यह सिलसिला चला आ रहा है। ज्योति जलती रहे इसकी जिम्मेदारी पुजारी को सौंप दी जाती है। संपूर्ण सिंधी समुदाय इन दिनों आस्था व भक्ति भावना के रस में डूब जाता है। अखिल भारतीय सिंधी बोली और साहित्य ने इस दिन 'सिंधीयत डे' घोषित किया है। आज भी जब कोई सिंधी परिवार घर में उत्सव आयोजित करता है तो सबसे पहले यही गूँज उठती है। 'आयोलाल झूलेलाल' बेड़ा ही पार अर्थात इनके नाम का जयघोष करने से ही सब मुश्किलों से पार हो जाएँगे। सभी को झूलेलाल महोत्सव चेटीचंड की हार्दिक शुभकामनाएँ। --- Send in a voice message: https://podcasters.spotify.com/pod/show/pinkcityfm/message

    Fri, 05 Apr 2024 - 02min
  • 209 - होली कुंभ 2024

    होली कुंभ 2024

    होली कुंभ 2024' में जयपुर की सबसे बड़ी ओपन-एयर होली पार्टी की भव्यता का अनुभव करें! 25 मार्च को पोलो ग्राउंड में रंगों के ऐसे विस्फोट के लिए गुलाबी शहर में सबसे विशाल उत्सव के लिए तैयार रहें, जो पारंपरिक उत्सवों से परे एक अविस्मरणीय अनुभव का वादा करता है। आनंद और उल्लास के जीवंत कैनवास के लिए तैयार हो जाइए!" जी हाँ एक नया अनुभव 50 से अधिक प्रसिद्ध कलाकार: 50 से अधिक प्रतिभाशाली कलाकारों के साथ संगीत शैलियों के मिश्रण में डूब जाएं और अपने गतिशील प्रदर्शन से मंच पर आग लगा दें। राजस्थान के शीर्ष डीजे: राजस्थान के शीर्ष डीजे नवीनतम ट्रैक घुमाते हुए धुनों को गूंजने दें, जिससे यह सुनिश्चित हो सके कि भीड़ पूरे दिन थिरकती रहे। लाइव संगीत और नृत्य प्रदर्शन: लाइव संगीत और मनमोहक नृत्य प्रदर्शन के जादू का अनुभव करें जो आपको मंत्रमुग्ध कर देगा। --- Send in a voice message: https://podcasters.spotify.com/pod/show/pinkcityfm/message
    Fri, 22 Mar 2024 - 03min
  • 208 - world consumer day

    विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस का महत्व वैसे तो विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस 15 मार्च को मनाया जाता है, लेकिन भारत में राष्ट्रीय उपभोक्ता अधिकार दिवस 24 दिसंबर को मनाया जाता है। क्योंकि भारत के राष्‍ट्रपति ने उसी दिन ऐतिहासिक उपभोक्‍ता संरक्षण अधिनियम, 1949 के अधिनियम को स्वीकारा था। विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस का इतिहास विश्व उपभोक्ता अधिकार दिवस का इतिहास राष्ट्रपति जॉन एफ कैनेडी से शुरू होता है। 15 मार्च, 1962 को उन्होंने उपभोक्ता अधिकारों के मुद्दे को संबोधित करने के लिए अमेरिकी कांग्रेस को एक विशेष संदेश भेजा, ऐसा करने वाले वे पहले नेता थे। उपभोक्ता आंदोलन इस प्रकार 1983 में शुरू हुआ और हर साल इस दिन, संगठन उपभोक्ता अधिकारों के संबंध में महत्वपूर्ण मुद्दों और अभियानों पर कार्रवाई करने का प्रयास करता है। बता दें, कोई भी आधिकारिक साइट से दुनिया भर में आयोजित विभिन्न घटनाओं और अभियानों की जांच कर सकता है। उपभोक्ता वे लोग हैं जो वस्तुएं या सेवाएं खरीदते और उपयोग करते हैं। उपभोक्ताओं को उनके द्वारा उपयोग में लायी जाने वाली किसी भी सेवा या सामान के लिए शिकायत दर्ज करने का अधिकार है- सामान और सेवाओं को खरीदने व उपयोग करने वाला व्यक्ति उपभोक्ता में ऐसा कोई भी व्यक्ति शामिल होता है जो वस्तुओं और सेवाओं को खरीदता है, साथ ही उनका उपयोग करने वाला व्‍यक्ति भी इसमें शामिल होता है। उदाहरण के लिए, एक व्यक्ति जो सिनेमा का टिकट खरीदने के बाद फिल्म देखता है वह उपभोक्ता है, और इसी तरह, जो व्यक्ति किसी और से उपहार में उपहार वाउचर पाकर उसका उपयोग करता है, वह भी उपभोक्ता है। स्वरोज़गार के लिए सामान का उपयोग करने वाला व्यक्ति, न कि व्यावसायिक उद्देश्यों के लिए उपभोक्ता संरक्षण कानून उन लोगों पर लागू नहीं होता है जो वाणिज्यिक उद्देश्यों के लिए वस्तुओं व सेवाओं का उपयोग करते हैं। हालांकि, इसके कुछ अपवाद भी हैं। उदाहरण के लिए, एक व्यक्ति जो अपने व्यवसाय में उपयोग करने के लिए बड़ी मशीनें खरीदता है, वह ‘उपभोक्ता’ नहीं है। हालांकि, जो लोग स्वरोज़गार के लिए माल का उपयोग करते हैं उन्हें उपभोक्ता माना जाता है। उदाहरण के लिए, वे कलाकार जो अपने काम के लिए कला सामग्री खरीदते हैं या सौंदर्य उत्पाद खरीदने वाले ब्यूटीशियन भी उपभोक्ता हैं। ऑनलाइन सुविधाओं का उपयोग करने वाला व्यक्ति उपभोक्ता में वह व्यक्ति भी शामिल होता है जो ऑनलाइन सामान या सेवाएं खरीदता या किराए पर लेता है। उदाहरण के लिए, यदि आप किसी कपड़े की वेबसाइट से ऑनलाइन ऑर्डर करते हैं, तो आप एक उपभोक्ता हैं। भोजन से संबंधित समस्याओं का सामना कर रहे लोग उपभोक्ताओं में वे लोग भी शामिल हैं जो खाद्य पदार्थों संबंधी मुद्दों का सामना कर रहे हैं, जैसे कि मिलावट, खराब गुणवत्ता, सेवा की कमी, आदि। उदाहरण के लिए, भोजन से संबंधित मुद्दों में उत्पादों की विविध समस्याएं आ सकती हैं-जूसों जैसी चीज़ों के उत्पादन में उपयोग होने वाले पानी के साथ-साथ चिकन, मटन आदि की बिक्री में जो स्पष्‍ट रूप से मानव उपभोग के लिए हैं। --- Send in a voice message: https://podcasters.spotify.com/pod/show/pinkcityfm/message

    Thu, 14 Mar 2024 - 05min
  • 207 - Valentine's Day

    Hello, and welcome to Pinkcity podcast, where we delve into matters of the heart, relationships, and everything in between. I'm Sisodia and today's episode is all about Valentine's Day – a day dedicated to love, romance, and connection. बुतपरस्त त्योहार था जो हर साल 15 फरवरी को रोम में आयोजित किया जाता था। हालांकि वेलेंटाइन डे का नाम एक शहीद ईसाई संत के साथ साझा होता है, लेकिन कुछ इतिहासकारों का मानना है कि यह छुट्टी वास्तव में लुपरकेलिया की एक शाखा है। हालाँकि, वैलेंटाइन डे के विपरीत, लुपरकेलिया एक खूनी, हिंसक और यौन रूप से आरोपित उत्सव था, जो बुरी आत्माओं और बांझपन से बचने की आशा में जानवरों की बलि, बेतरतीब मंगनी और जोड़े से भरा हुआ था। संत वैलेंटाइन के करुणा और अवज्ञा के कृत्य अंततः उनकी शहादत का कारण बने। 14 फरवरी को कैथोलिक चर्च द्वारा सेंट वेलेंटाइन डे के रूप में मान्यता दी गई, और समय के साथ, यह उस छुट्टी के रूप में विकसित हुआ जिसे हम आज जानते हैं। सह-मेजबान: वर्तमान समय में तेजी से आगे बढ़ते हुए, वेलेंटाइन डे प्यार और स्नेह का एक वैश्विक उत्सव बन गया है। हालाँकि इसकी जड़ें ईसाई परंपराओं में हैं, लेकिन अब इसे सभी संस्कृतियों और पृष्ठभूमि के लोगों ने अपना लिया है


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    Wed, 14 Feb 2024 - 04min
  • 206 - RAm Lalla Ke swagat ko taiyar He jaipur shahar

    22 जनवरी को राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव मनाया जाएगा। एक ओर जहां अयोध्या में रामलला गर्भगृह में विराजित होंगे। वहीं, दूसरी तरफ जयपुर में भी दीपोत्सव मनाया जाएगा। इस खास दिन अल्बर्ट हॉल परिसर में 300 ड्रोन से हवा में भगवान श्रीराम का स्वरूप बनाया जाएगा। अलबर्ट हॉल परिसर में भी अयोध्या में बन रहे राम मंदिर के जैसा 35 फीट ऊंचा भव्य राम मंदिर का स्वरूप बनाया जाएगा। बंगाल से आए 150 कारीगर इसका निर्माण कर रहे हैं। मंदिर की यह झांकी लोगों के लिए 3 दिन तक रहेगी। --- Send in a voice message: https://podcasters.spotify.com/pod/show/pinkcityfm/message

    Mon, 22 Jan 2024 - 06min
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